जशपुर जिले में उर्वरक उठाव में 16.13 प्रतिशत और कृषि ऋण वितरण में 8.62 प्रतिशत की वृद्धि
किसान क्रेडिट कार्ड से बढ़ा बीज वितरण
रायपुर,
राज्य में खरीफ फसल की बुआई शुरू हो चुकी है और किसान पूरी तन्मयता से कृषि कार्यों में जुट गए हैं। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय के निर्देश पर राज्य सरकार द्वारा किसानों को खेती के लिए आवश्यक संसाधन जैसे खाद, बीज और ऋण की सुविधाएं प्राथमिकता के साथ उपलब्ध कराई जा रही हैं, जिससे उन्हें किसी प्रकार की परेशानी न हो। इन योजनाओं और सुविधाओं का सकारात्मक असर अब ज़मीनी स्तर पर साफ़ दिखाई दे रहा है।
मुख्यमंत्री के नेतृत्व में लिए गए किसान हितैषी निर्णयों से खेती के प्रति किसानों में नया उत्साह देखा जा रहा है। राज्य में रूपए प्रति क्विंटल की दर से प्रति एकड़ 21 क्विंटल की धान की खरीदी ने किसानों के मन में विश्वास और उमंग भर दी है। हाल ही में आयोजित कैबिनेट बैठक में एक और बड़ा निर्णय लिया गया, जिसमें पंजीकृत धान फसल की जगह दलहन, तिलहन, मक्का जैसी वैकल्पिक फसलें लेने वाले किसानों को भी कृषक उन्नति योजना का लाभ देने की घोषणा की गई। इस निर्णय का किसानों ने खुले दिल से स्वागत किया है और इसे खेती के दायरे को बढ़ाने तथा समृद्धि की दिशा में बड़ा कदम बताया है।
सहकारिता विभाग, जिला जशपुर से प्राप्त जानकारी के अनुसार इस वर्ष रासायनिक खाद के उठाव में 16.13 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है। जून 2024 के अंत तक जहां 7566.100 टन उर्वरकों का वितरण हुआ था, वहीं जून 2025 के अंत तक यह बढ़कर 8786.190 टन हो गया है। इसी तरह अल्पकालिक ऋण वितरण में भी उल्लेखनीय 8.62 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। पिछले वर्ष जून अंत तक 34.68 करोड़ रुपये का ऋण किसानों को उपलब्ध कराया गया था, जबकि इस वर्ष यह आंकड़ा बढ़कर 37.67 करोड़ रुपये हो गया है। अर्थात् कुल 2.99 करोड़ रुपये की वृद्धि दर्ज की गई है।
किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से फसल बीजों के वितरण में भी प्रभावशाली 79.55 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है। पिछले वर्ष जून तक 1332.21 क्विंटल धान बीज का वितरण हुआ था, जबकि इस वर्ष यह आकड़ा बढ़कर 2392.46 क्विंटल हो गया है।
राज्य सरकार के इन ठोस प्रयासों से स्पष्ट है कि किसानों को संसाधनों की कमी के बिना खेती करने का अवसर मिल रहा है और वे नई उम्मीद के साथ बेहतर उत्पादन की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय की किसानों के प्रति संवेदनशीलता और दूरदर्शिता के चलते छत्तीसगढ़ में कृषि क्षेत्र न केवल सशक्त हो रहा है, बल्कि आर्थिक प्रगति की ओर भी अग्रसर है।